Tuesday, 3 September 2013

दिलवाले एक चाहत :: दोस्ती ज़रूरत दिल में तेरी यादें

दिलवाले दिलवाले हमेशा दिलदारनहीं होते, सब महफ़िलों के मौसम ख़ुशगवार नहीं होते, मत दिखाओ हर किसी को अपने ज़ख़्म, सभी यहाँ काबिल-ए-ऐतबार नहीं होते @@@@@****@@--->> तुमसे मिलने के बाद तुमसे मिलने के बाद, ज़िंदगी बहुत कम लगती है, हर छोटी सी ख़ुशी, इस जहाँ से बड़ी लगती है तुमसे मिलने के बाद, मन-मयूर नाच उठा है, मन में सोया था जो अरमान, वो भी जाग उठा है तुमसे मिलने के बाद, हर रिश्ता पराया लगता है, तुमसे बढ़ कर कोई भी, अपना नहीं लगता है, तुमसे मिलने के बाद, तुम्हारे सिवा कुछ भी नहीं याद, अब तो रब से यही है दुआ, छोड़ दें हम ये दुनिया, तुमसे बिछड़ने के बाद @@@@@****@@--->> हमेश ये तेरा-मेरा साथ रहे, मेरे हाथों में बस तेरा हाथ रहे; चलते रहें यूँ ही हमसफ़र बनकर, मेरे दिल में हमेशा प्यार के जज़्बात रहें| खुशियों से नाराज़ हैं मेरी जिंदगी प्यार की मोहताज़ हैं मेरी जिंदगी हँस लेते हैं दुसरो को दिखाने केलिए वर्ना दर्द की खुली किताब हैं मेरी जिंदगी @@@@@****@@--->> यादें होती हैं सताने के लिए कोई रूठता हैं फिर मनाने के लिए रिश्ता बनाना कोई मुस्किल तो नहीं बस जान चली जाती हैं उसे निभाने के लिए @@@@@****@@--->> मुझे थी जिसकी तलाश वो तुम हो, दिल में थी जिसकी प्यास वो तुम हो; लोग तो कई मिले जिंदगी कि राह में, पर मन को थी जिसकी आस वो तुम हो @@@@@****@@--->> जब दिल चाहे हमसे बात कर लेना, जब दिल चाहे हमसे मुलाक़ात कर लेना; रहते हैं आपके दिल में हम, वक़्त मिले तो हमें तलाश कर लेना| मिले हो आप तो मुझसे दूर मत जाना,,,,जिंदगी में अकेला मुझे छोर के मत जाना खता हो गई हो तो माफ कर देना मुझे,,,,मगर दुसरो के सहारे हमे छोर मत जाना @@@@@****@@--->> नज़र अंदाज कैसे करें आपको, नज़रों में बिठाइए हुए हैं आपको; याद आने पर रोयें मगर कैसे, झुकी जो पलकें तो चुभेंगी आपको तेरी तस्वीर भी गजब सितम ढाती हैं ,,,,,देखू तो तेरी याद चली आती हैं अब तू ही बता जालिम मैं क्या करू,,,,तुझे न देखू तो मेरी जान निकल जाती हैं @@@@@****@@--->> OPMeena @@@@@****@@--->> ये चाँद ये चाँद कुछ मदहोश सा है, मेरी तरह कुछ ख़ामोश सा है, ना ही जागा, ना ही सोयाहै, लगता है ये भी किसी की याद में खोया है @@@@@****@@--->> मुझे जीना अच्छा लगता है वादेहोंचाहेझूठे,मगरकिएहोंतूनेतो, मुझेयकींकरनाअच्छालगताहै, ख़्यालखुदकारहेनारहे,तूरहेख़्यालोंमेंतो, मुझेहरतसव्वुरअच्छालगताहै, यादोंमेंहोबसतूऔरसिर्फ़तू, मुझेतन्हारहनाअच्छालगताहै, ज़ख़्मदियाहोतूनेतो, मुझेहरदर्दअच्छालगताहै, चाहेहक़ीक़तबनेनाबनेपरदीदारहोतेरातो, मुझेख़्वाबोंमेंरहनाअच्छालगताहै, तेरीहथेलीपरढलकजाएगरमेराहरआँसूतो, मुझेरोनाअच्छालगताहै, तुझेछूकरभीनागुज़रेकोईदुख, मुझेतेराहरग़मपीनाअच्छालगताहै, गरकटेयेज़िंदगीतेरीपनाहोंमेंतो, मुझेजीनाअच्छालगताहै, हाँ!मुझेजीनाअच्छालगताहै @@@@@****@@--->> एक-तरफ़ा मोहब्बत एक-तरफ़ा मोहब्बत कुछयूँ मज़ा देती है, कभी पल भर की ख़ुशी, कभी सज़ा देती है, कहा नहीं यूँ तो उसने मुझसे कुछ अब तक, बस, उसकी ख़ामोश नज़रें चुपके से रज़ा देती हैं @@@@@****@@--->> नीलाम होती साँसों को बचाने की कोशिश किया करते हैं, अपने एहसासों को छुपाने की कोशिश किया करते हैं, यूँ तो तुझे याद करना फ़ितरत बन चुकी है हमारी, फ़िर भी, भुलाने की नाक़ाम कोशिश किया करते हैं @@@@@****@@--->> काश कभी न ख़त्म ये रात होती, तो यूँ ही सपनों में उनसे बात होती, उन्हें खोने का ख़ौफ़ न कभी पास होता, हमेशा उनके पास होने का एहसास होता @@@@@****@@--->> कुछ वक़्त लगेगा समेटने में उन यादों को, जो तुमने मेरी ज़िंदगी में बिखेरी हैं, फ़िर भी सुकून रहेगा दिल में, ये जान कर, कि तुम नहीं, पर कम-से-कम तुम्हारी यादें तो मेरी हैं, शायद अब मेरी ज़िंदगी में, कोई हसरत बाकी न रहेगी, फ़िर भी दिल का हर कोना भर जाएगा, जब तुम्हारी यादें मेरी दिल मे रहेंगी, अपने अरमानों को समझा लूँगी मैं, सज़ा कर उन्हें तुम्हारी यादों से, तुम नहीं मेरे पास तो क्या, कर लूँगी बात तुम्हारी बातों से, ज़िक्र न करना मगर मेरा किसी से, हर शख़्स को ख़बर लग जाएगी, जो मुस्कुराहट ओढी है मैने चेहरे पर, उसे इस ज़माने की नज़रलग जाएगी @@@@@****@@--->> जिन्हें भूल कर भुलाना हो नामुमकिन, ऐसे कुछ ही लोग ज़िंदगी में होते हैं, कोई ज़रा कह तो दे उनसे कि हम आज भी, तन्हाई में उन्हें याद कर के रोते हैं @@@@@****@@--->> तेरी याद ने बेबस किया, हुआ जो एहसास तेरी जुदाई का, ये सज़ा सिर्फ़ मुझे क्यों मिली, कुछ तो कसूर होगा मेरीतन्हाई का @@@@@****@@--->> यूँ तो हम दिल मे किसी को बसाते नहीं, बसा लें तो फ़िर भुलाते नहीं, ये हमारी ही बदक़िस्मती है की वो हमें, समझ के भी समझ पाते नहीं @@@@@****@@--->> जब कोई रिश्ता अचानक छूट जाता है, ज़िंदगी का हर हसीन लम्हा जैसे रूठ जाता है, चाहे उसके प्यार में वफ़ा की जगह ना हो, फ़िर भी ये नाज़ुक सा दिल पल में टूट जाता है, चाहत हो जाए किसी की नाक़ाम, ख़ुशी का हर पल हाथों से फ़िसल जाता है, फ़िर किसी से दिल लगाने का ख़्वाब, इन आँखों से भी निकल जाता है, चाहे कितनी भी नफ़रत हो उसके लिए, उसे देख ये दिल पिघल जाता है, गर हो जाए तुम्हारी चाहत की सबको ख़बर, तुम्हें चाहने वाला हर दिल बदल जाता है @@@@@****@@--->> नीलाम होती साँसों को बचाने की कोशिश किया करते हैं, अपने एहसासों को छुपाने की कोशिश किया करते हैं, यूँ तो तुझे याद करना फ़ितरत बन चुकी है हमारी, फ़िर भी, भुलाने की नाक़ाम कोशिश किया करते हैं @@@@@****@@--->> यूँ तो हम दिल मे किसी को बसाते नहीं, बसा लें तो फ़िर भुलाते नहीं, ये हमारी ही बदक़िस्मती है की वो हमें, समझ के भी समझ पाते नहीं

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